ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण CEO की बड़ी कार्रवाई से भूमाफियाओं में मचा हड़कंप: 18 के खिलाफ कराया मुकदमा दर्ज़ वही जांच में जुटी पुलिस और ...? जानें पूरी खबर
ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण CEO की बड़ी कार्रवाई से भूमाफियाओं में मचा हड़कंप

गौतम बुद्ध नगर: आपको बता दें कि ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ (CEO) एन.जी. रवि के द्वारा भूमाफियाओं पर कड़ा एक्शन लिया गया है। दरअसल ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के अधिसूचित क्षेत्र में स्थित तुस्याना गांव में प्लाटिंग करके अवैध निर्माण करने वालों के खिलाफ प्राधिकरण के द्वारा बड़ी कार्रवाई की गई है। बता दें कि प्राधिकरण की शिकायत पर ही इकोटेक-3 कोतवाली में कुल 18 कॉलोनाइजरों के खिलाफ FIR दर्ज की गई है।

आइए जानते हैं कि आखिर किसने करवाया है मुकदमा दर्ज:

दरअसल ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ (CEO) एनजी रवि कुमार के द्वारा अधिसूचित एरिया में अवैध तरीके से निर्माण कार्य करने वालों के खिलाफ अभियान चलाकर ही इस प्रकार की कड़ी कार्यवाही करने के निर्देश दिए गए हैं।आपको बता दें कि इसी कड़ी में ही ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के परियोजना विभाग के वर्क सर्किल-3 की तरफ से ही ईकोटेक-3 कोतवाली में एफआईआर (FIR) दर्ज कराई गई है। 

कई धाराओं में दर्ज की गई है एफआईआर (FIR):

प्राधिकरण के अनुसार कई धाराओं में एफआईआर कराई गई है। जैसे तुस्याना गांव के खसरा संख्या 517, 964, 967, 975, 981, 984, 985, 992 तथा 1007 की जमीन पर कॉलोनाइजरों के द्वारा प्लाटिंग करके अवैध रूप से निर्माण कार्य किया जा रहा था। इसको रोकने के लिए ही प्राधिकरण की तरफ से कई बार इन्हें नोटिस भी जारी की गई है। साथ ही कई बार मौके पर भी जाकर भी कार्य को रुकवाया गया है, लेकिन कॉलोनाइजरों के द्वारा चोरी-छिपे प्लाटिंग करके निर्माण जारी रखने की लगातार कोशिश कर रहे थे। 

इन लोगों के खिलाफ दर्ज किया गया मुकदमा:

आपको बता दें कि ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की शिकायत पर कई लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। जिनमें से सत्यवीर, धनी उर्फ धनीराम, गोविंद शर्मा, शहादत अली, सुनील बंसल, सहादत खान, मोनू खान, हरिश्चंद्र अरोड़ा, निजाकत अली, दयाराम शर्मा, कृष्ण शर्मा, मोहब्बत, शिवराम शर्मा, अंकित राजू, धूम सिंह (फरमान सैफी), अमित कुमार तथा नावेद आलम के खिलाफ धारा 329 (3) के साथ साथ सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने की धाराओं में भी एफआईआर दर्ज कराई गई है। 

अवैध निर्माण से प्रस्तावित परियोजनाओं पर पड़ता है असर:

दरअसल अफसरों का यह कहना है कि ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के मास्टर प्लान की इन जमीनों पर प्राधिकरण की कई योजनाएं वर्तमान में भी प्रस्तावित हैं। लेकिन अवैध निर्माण के चलते उन प्रस्तावित परियोजनाओं पर भी काफी असर पड़ता है। 

इसी के चलते ही परियोजना विभाग की शिकायत पर ईकोटेक-3 कोतवाली में (FIR) एफआईआर दर्ज करा दी गई है। ऐसा बताया गया है कि इन सभी खसरा नंबरों की जमीन को फ्री होल्ड बताकर सीधी साधी जनता की गाढ़ी कमाई को इसमें लगवाया जा रहा था। 

सीईओ एन.जी. रवि कुमार का क्या है बयान:

ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की एसीईओ (ACEO) प्रेरणा सिंह के द्वारा यह साफ कहा गया है कि अधिसूचित एरिया में किसी को भी बिना प्राधिकरण की अनुमति के निर्माण करने की छूट नहीं दी गई है। ऐसा करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। वहीं ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ (CEO) एनजी रवि कुमार के द्वारा नागरिकों से यह भी अपील की गई है कि ऐसे कालोनाइजरों के झांसे में फंसकर अपनी गाड़ी कमाई को बिल्कुल भी ना फंसाएं। प्राधिकरण के अधिसूचित क्षेत्र में अपना पैसा लगाने से पूर्व प्राधिकरण से उस संपत्ति के बारे में आवश्यक जांच पड़ताल कर ले।

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