उत्तर प्रदेश के गौतम बुद्ध नगर जिले से एक बड़ी खबर सामने आ रही है। दरअसल नोएडा प्राधिकरण में लंबे समय से तैनात कई बड़े अधिकारियों पर योगी सरकार के द्वारा कड़ा एक्शन लिया गया है। इस कार्यवाही में प्रदेश के मंत्री नंद गोपाल नंदी के द्वारा प्राधिकरण के पहले 7 और फिर 5 वरिष्ठ अधिकारियों को सस्पेंड कर दिया गया है। इस प्रकार अब तक तीनों प्राधिकरण को मिलाकर कुल 14 अधिकारियों को सस्पेंड कर दिया गया है।दरअसल इन अधिकारियों पर यह आरोप है कि ट्रांसफर होने के बावजूद भी लंबे समय से यह सभी प्राधिकरण में तैनात थे। योगी सरकार की ओर से लिए गए इस एक्शन के पश्चात तीनों प्राधिकरण में हड़कंप मच गया है। ऐसा बताया जा रहा है कि आने वाले दिनों में कई अन्य बड़े अधिकारियों पर भी गाज गिरने की संभावना है।
जिले में अब तक कुल 14 अफसरों को किया गया सस्पेंड:
दरअसल गौतमबुद्ध नगर के तीनों प्राधिकरणों को मिलाकर अधिकारियों को निलंबित करने का यह सिलसिला लगातार जारी है। आज यानि गुरुवार की शाम 5:58 बजे प्रदेश के औद्योगिक विकास मंत्री श्री नंद गोपाल नंदी के दफ्तर से एक संदेश जारी किया गया। जिसमें यह बताया गया कि जिले में तैनात कुछ अन्य अधिकारियों को भी निलंबित कर दिया गया है। उनके इस एक्शन के बाद अब जिले में निलंबित अधिकारियों की कुल संख्या फिलहाल 14 हो गई है।
इन अफसरों को किया गया सस्पेंड:
सुशील भाटी : नोएडा प्राधिकरण
नरदेव : नोएडा प्राधिकरण
एचयू फारूख : नोएडा प्राधिकरण
सुमित ग्रोवर : नोएडा प्राधिकरण
आरके शर्मा : नोएडा प्राधिकरण
प्रमोद कुमार : नोएडा प्राधिकरण
विजेंद्र पाल : नोएडा प्राधिकरण
आरए गौतम : ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण
गुरविंदर सिंह : ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण
गुरविंदर सिंह : ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण
राम आसरे गौतम : ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण
राजेंद्र भाटी : यमुना प्राधिकरण
कैलाशनाथ श्रीवास्तव : यूपीएसआईडीसी (UPSIDA)
केएन श्रीवास्तव : यूपीएसआईडीसी (UPSIDA)
आपको बता दें कि यह कार्रवाई विभिन्न विभागों में चल रही जांच तथा अनियमितताओं के आधार पर ही की गई है। इस कार्रवाई के पश्चात नोएडा प्राधिकरण में लगभग 60 प्रतिशत अधिकारी तथा कर्मचारी कम हो गए हैं। यह वर्तमान स्थिति हाल ही में हुए कई स्थानांतरणों तथा अब इन निलंबनों के कारण से उत्पन्न हुई है।
विभागीय जांच के बाद कई अधिकारियों पर लटक रही थी तलवार:
दरअसल पहले तो यह कार्रवाई सिर्फ सात अधिकारियों तथा कर्मचारियों पर की गई थी। लेकिन उसके बाद यह माना जा रहा था कि विभागीय जांच में कई अन्य अधिकारी भी संदेह के घेरे में हैं, जो ट्रांसफर होने के बावजूद भी अपनी जगह छोड़ने को तैयार नहीं थे। वहीं बाद में खबर आई कि नोएडा तथा ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण में तैनात 5 और अधिकारियों को शासन के द्वारा निलंबित कर दिया गया है। बता दें कि प्राधिकरणों के इन 5 अधिकारियों को सस्पेंड करने का आदेश औद्योगिक विकास अनुभाग-4 के प्रमुख सचिव श्री अनिल कुमार सागर के द्वारा जारी किए गए हैं। दरअसल जयवीर सिंह की तरफ से जारी आदेश में यह बताया गया है कि इन सभी अधिकारियों के द्वारा 30 जून 2023 को जारी किए गए एक जनहित के तबादला आदेश की अवहेलना की गई थी, जिसके चलते ही इन पर यह कार्रवाई की गई है।
आदेश की अवेहलना करने पर राजेंद्र भाटी को भी किया गया निलंबित:
दरअसल उत्तर प्रदेश शासन के आदेशों का पालन नहीं करने पर यमुना प्राधिकरण में उप महाप्रबंधक (सिविल) के पद पर तैनात राजेंद्र सिंह भाटी को भी निलंबित कर दिया गया है। वहीं यह आदेश भी औद्योगिक विकास विभाग के प्रमुख सचिव अनिल कुमार सागर की तरफ से जारी किया गया है। दरअसल प्रदेश की योगी सरकार तबादला आदेश की अवेहलना करने वाले सभी अफसरों पर कड़ा एक्शन ले रही है। बता दें कि यीडा में तैनात DGM का तबादला हो जाने के बाद भी अपना नया पदभार ग्रहण नहीं किया था।
भ्रष्टाचार नहीं किया जाएगा बर्दाश्त:
आपको बता दें कि शासन के इस एक्शन का मुख्य उद्देश्य प्राधिकरण में व्याप्त भ्रष्टाचार तथा अनियमितताओं पर नकेल कसना है। शासन के द्वारा यह स्पष्ट संदेश दिया गया है कि किसी भी स्तर पर कोई लापरवाही अथवा भ्रष्टाचार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। साथ ही पाए जाने वाले दोषी अधिकारियों पर कड़ी से कड़ी कार्रवाई भी की जाएगी।
तीनों प्राधिकरणों में मची उथल-पुथल:
दरअसल उत्तर प्रदेश शासन की इस बेहद सख्त कार्रवाई के पश्चात नोएडा प्राधिकरण, ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण तथा यमुना प्राधिकरण में तैनात अन्य सभी अधिकारियों में हड़कंप मच गया है। इस एक्शन के बाद अब सभी अधिकारियों के बीच एक डर की स्थिति बनी हुई है। इसके बाद उन्हें भी लग रहा है कि अब अगला नंबर शायद उनका भी हो सकता है। खासकर वे सभी अधिकारी परेशान हैं, जो लंबे वक्त से मलाईदार पदों पर तैनात थे। फिलहाल इन सभी अधिकारियों में खलबली मच गई है।