यमुना एक्सप्रेसवे के किनारे बसेगा न्यू आगरा, ऐसे बनेगा उत्तर भारत के विकास का इंजन!: चंडीगढ़ की तर्ज पर प्लानिंग, इतने लाख लोगों की आवासीय क्षमता के साथ इतने लाख लोगो को मिलेगा रोजगार?
यमुना एक्सप्रेसवे के किनारे बसेगा न्यू आगरा, ऐसे बनेगा उत्तर भारत के विकास का इंजन!

उत्तर प्रदेश: योगी सरकार न्यू नोएडा के बाद अब न्यू आगरा बसाने की योजना पर तेजी से विचार कर रही है। दरअसल यमुना एक्सप्रेसवे के दोनों तरफ किनारे पर बसाए जाने वाले “न्यू आगरा अर्बन सेंटर” का जोनल प्लान भी तैयार कर लिया गया है। आपको बता दें कि नए शहर में सबसे पहले औद्योगिक क्षेत्र का विकास किया जाएगा।

न्यू आगरा में करीब 14.6 लाख लोगों के आवास की होगी क्षमता:

गौरतलब है कि न्यू आगरा में करीब 14.6 लाख लोगों की आवास क्षमता होगी। साथ ही यहां पर करीब 8.5 लाख लोगों को रोजगार भी मिलेगा। शहर के जोनल प्लान को भी तैयार कर लिया गया है। नया शहर आगरा के कुल 58 गांवों की करीब 9500 हेक्टेयर जमीन पर बसाया जाएगा। जिसमें औद्योगिक, आवासीय तथा हरित क्षेत्र समेत सभी गतिविधियां भी शामिल होंगी।

चंडीगढ़ शहर की तर्ज पर होगी न्यू आगरा की प्लानिंग:

दरअसल न्यू आगरा की डिजाइनिंग फेमस फ्रांसीसी वास्तुविद ली कोर्बुसिए की शहरी नियोजन सोच से ही प्रेरित होगी, जैसी चंडीगढ़ शहर में अपनाई गई थी। वहीं इस परियोजना में पर्यावरण के प्रति संवेदनशील क्षेत्रों का भी विशेष ध्यान रखा गया है। ताकि नए शहर को बसाने की वजह से पर्यावरणीय नुकसान न हो सके। इसके लिए ताज ट्रैपेजियम जोन में सैफ हरित श्रेणी के उद्योगों को अनुमति दी जाएगी तथा इसे पर्यटन एवं मनोरंजन के एक प्रमुख केंद्र के रूप में भी विकसित किया जाएगा।

पहले सिर्फ 36 गांवों की जमीन पर ही विकसित होगा शहर:

गौरतलब है कि प्रारंभिक रिपोर्ट में जनसंख्या तथा सड़क समेत ट्रांसपोर्ट सिस्टम, पर्यावरण की स्थिति, सुविधाएं, उद्योग की स्थिति तथा संभावनाएं, कारोबार की स्थिति एवं यमुना सहित क्षेत्र में मौजूद अन्य सभी जल स्रोतों का विवरण तैयार कर लिया गया है।

वहीं न्यू आगरा शहर को पहले लगभग 36 गांवों की जमीन पर ही विकसित किया जाएगा। इसके बाद में इस शहर का विस्तार किया जाएगा। फिलहाल सबसे पहले औद्योगिक गतिविधियों को ही यहां पर विकसित करने की तैयारी है, ताकि शहर में आबादी को भी बढ़ाया जा सके।

ताजमहल की सुंदरता का रखा जाएगा पूरा ध्यान: CEO

आपको बता दें कि यमुना प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉ. अरुणवीर सिंह का यह कहना है कि ताज ट्रैपेजियम जोन (TTZ) के अंतर्गत ताजमहल के आसपास का क्षेत्र प्रदूषण मुक्त हो रहेगा। 

वहीं खास तौर पर ताजमहल की सुंदरता को भी बरकरार रखा जाएगा। इसके लिए शहर के आस पास पर्यावरण के अनुकूल ही कंपनियों एवं फैक्ट्रियों को स्थापित करने की अनुमति दी जाएगी।

औद्योगिक गतिविधियां शुरू करने से पूर्व कराया जाएगा सर्वेक्षण:

दरअसल इस क्षेत्र (TTZ) में ऐसी किसी भी औद्योगिक गतिविधि की अनुमति नहीं दी जाएगी, जिससे ताजमहल की सुंदरता प्रभावित होगी। इसके लिए सबसे पहले पर्यावरण के अनुकूल औद्योगिक गतिविधियां शुरू करने से पूर्व सर्वेक्षण कराया जाएगा, जिसकी रिपोर्ट सामने आने के पश्चात ही कंपनियों को यहां आमंत्रित किया जाएगा। 

नमो भारत से मिल सकेगी डायरेक्ट कनेक्टिविटी:

आपको बता दें कि न्यू आगरा को राजधानी दिल्ली समेत गाजियाबाद एवं ग्रेटर नोएडा के साथ में डायरेक्ट कनेक्टिविटी देने की भी तगड़ी प्लानिंग की जा रही है। यीडा के प्लान के अनुसार नमो भारत रैपिड ट्रेन को भी नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट तथा न्यू आगरा के बीच भी नमो भारत चलाने की भी योजना है। इसके लिए यमुना एक्सप्रेस-वे के किनारे लगभग 131 किमी लंबी लाइन बिछाने का प्रस्ताव भी है। वहीं यीडा के इस प्रोजेक्ट से लगभग 8.5 लाख लोगों को प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार मिलने की भी उम्मीद जताई गई है।

देश के भविष्य का शहर बनने की तरफ अग्रसर न्यू आगरा:

दरअसल न्यू आगरा केवल एक आवासीय टाउनशिप ही नहीं होगा बल्कि यह एक भविष्यदर्शी स्मार्ट सिटी के रूप में भी तैयार हो रही है, जो न सिर्फ लोगों को आवास की सुविधा देगी, बल्कि रोजगार समेत पर्यटन, उद्योग, परिवहन तथा पर्यावरणीय संतुलन का भी एक उत्कृष्ट उदाहरण बनेगी। इसलिए ऐसा माना जा रहा है कि यह शहर उत्तर भारत के विकास का नया इंजन बनने की तरफ तेजी से अग्रसर है।

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